हेल्लो दोस्तों,
आज इस सेशन में सॉफ्टवेयर (Software),
सॉफ्टवेयर के प्रकार (Types of Software), इत्यादि. के बारें में सीखेगे. तो चलिये सेशन को स्टार्ट
करते हैं.
[Today in this
session Software, Types of Software, etc. will learn about. So let's start the
session.]
Contents (कंटेंट्स) |
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1 |
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(i) |
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(a) |
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(a) |
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(iv) |
सॉफ्टवेयर क्या है? (What is Software?)
जैसा कि आप जानते हैं या, पहले हम सीख चुके हैं
कि Computer एक यंत्र (Machine) है, और यह Hardware और Software से मिलकर बना है.
जिस प्रकार हमारा शरीर Hardware है, तो प्राण Software. दोनों एक दूसरे के पूरक
है. एक के बिना कोई कार्य नहीं कर सकता.
[As you know or,
earlier we have learned that computer is a machine, and it is made up of
hardware and software. Just as our body is hardware, so pran is software. Both
are complementary to each other. One cannot function without one.]
ठीक उसी प्रकार, Computer को कार्य करने के लिए
निर्देशों की आवश्यकता होती है. निर्देशों के बिना वह कोई कार्य नहीं कर सकता, क्यूकि
वह एक निर्जीव वस्तु है. इसलिए, Computer को कार्य करने के लिए निर्देश यानि Software
की आवश्यकता होती है.
[ In the same way,
computer needs instructions to work. Without instructions he cannot do any
work, because he is an inanimate object. Therefore, computer requires
instructions i.e. software to work.]
Software निर्देशों का समूह
होता है, जो Computer Hardware (घटकों) को यह बताता है की कैसे और किस प्रकार किसी
खास काम को पूरा करना है. यह Computer को इनपुट लेने, उसपर प्रक्रिया (Processing)
करने तथा आउटपुट प्रदान करने की अनुमति प्रदान करता है.
Software के बिना Computer एक टीन के डब्बे
के सामान है.
[Software is a set of instructions,
which tell the computer hardware (components) how and how to accomplish a
particular task. It allows the computer to take input, process it and provide
output. A computer without software is like a
tin box.]
सॉफ्टवेयर के प्रकार (Types of Software)
Software को निम्न भागों में वर्गीकृत
किया है, जो इस प्रकार है :
[Software is classified
into the following parts, which are as follows:]
(i) सिस्टम सॉफ्टवेयर (System
Software)
(a) ऑपरेटिंग सिस्टम (Operating System)
(ii) एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर (Application
Software)
(a) सामान्यीकृत सॉफ्टवेयर (Generalised
Software)
(b) अनुकूलित सॉफ्टवेयर
(Customized Software)
(iii) यूटिलिटी सॉफ्टवेयर (Utility
Software)
(iv) डिवाइस ड्राईवर
(Device Driver)
(i) सिस्टम सॉफ्टवेयर क्या है? (What is System Software?)
सिस्टम सॉफ्टवेयर प्रोग्रामो का एक समूह
होता है, जो कंप्यूटर सिस्टम के कार्यो को नियंत्रित करता है, और आपके लिए
कंप्यूटर को कार्य करने के लिए तैयार करता है और साथ ही, एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर को चलाने
में मदद करता है. जैसे ही आप कंप्यूटर को स्टार्ट करते हैं, ROM चिप में, इन्सटाल्ड
प्रोग्राम स्टार्ट हो जाता है, जो आपके कंप्यूटर के सभी इकाईयों को उपयोग करने के
लिए तैयार करता है. ROM चिप में इन्सटाल्ड प्रोग्राम को BIOS (बायोस) के
नाम से जानते है. जिसका फुल फॉर्म Basic Input Output System होता
है.सिस्टम सॉफ्टवेयर में, Compilers, Loaders, Debuggers, के साथ Utility Software,
Language Translatator इत्यादि शामिल होते हैं.
Operating System
(OS), System Software का एक महत्वपूर्ण उदाहरण है.
[System
software is a set of programs that control the functions of a computer system,
and prepare the computer to work for you, as well as help run application
software. As soon as you start the computer, the program installed in the ROM
chip is started, which prepares all the units of your computer for use. The
program installed in the ROM chip is known as BIOS. Whose full form is Basic
Input Output System. In system software, Compilers, Loaders, Debuggers, along
with Utility Software, Language Translator etc. are included.
Operating
System (OS) is an important example of System Software.]
(a) ऑपरेटिंग सिस्टम (Operating System)
ऑपरेटिंग सिस्टम (Operating System) को कंप्यूटर का मेनेजर कहा
जाता है. जिस प्रकार, बैंक में, मेनेजर (प्रबंधक) का कार्य सभी सहकर्मियों को साथ
लेकर चलना, उनको कोआर्डिनेट करना, तथा उनपर नियंत्रण रखना, होता है, ठीक उसी
प्रकार, Operating System भी कंप्यूटर के सभी घटकों (Hardware) के साथ कोआर्डिनेट
करता है और उसपर नियंत्रण रखता है तथा प्राप्त निर्देशों के अनुसार, घटकों (हार्डवेयर)
को निर्देश भी देता है. Operating System के बिना हम कंप्यूटर पर कोई कार्य नहीं
कर सकते हैं.
Operating System को short form में OS के नाम
से जानते हैं.
कुछ महत्वपूर्ण ऑपरेटिंग सिस्टम इस प्रकार है :
-
Windows, UNIX, LINUX.
[The
operating system is called the manager of the computer. Just as, in a bank, the
job of a manager is to accompany, coordinate, and control all the co-workers,
similarly, the operating system also coordinates with all the components of the
computer (Hardware). And controls it and also gives instructions to the
components (hardware) according to the instructions received. Without Operating
System we cannot do any work on the computer.
Operating System is known in short form as OS.
Some important operating systems are as follows :- Windows,
UNIX, LINUX.]
ऑपरेटिंग सिस्टम (Operating System) के महत्वपूर्ण कार्य
(i) कंप्यूटर को स्टार्ट
करना (Booting of a Computer)
(ii) मेमोरी तथा अन्य
संसाधनों का प्रबंधन करना
(Management of Memory and other Resources)
(iii) उपयोगकर्ता और कंप्यूटर
के बीच का माध्यम होना
(Interface between User and Computer)
(iv) कार्यों की सूची बनाना
(Scheduling the Tasks)
ऑपरेटिंग सिस्टम के प्रकार (Types of Operating System)
(i) सिंगल यूजर सिंगल टास्क ऑपरेटिंग सिस्टम
(Single User Single Task Operating System)
जिस प्रकार नाम है, ठीक उसी प्रकार काम भी है.
इस प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम में, एक समय में एक ही यूजर इसपर कार्य कर सकता था
और वह भी एक ही प्रोग्राम पर.
जैसे : MS- DOS
(ii) सिंगल
यूजर मल्टीटास्किंग ऑपरेटिंग सिस्टम
(Single User Multitasking Operating System)
इस ऑपरेटिंग
सिस्टम में एक यूजर, विभिन्न प्रकार के प्रोग्रामों को एक ही समय उपयोग कर सकता था
.
जैसे :
माइक्रोसॉफ्ट विंडोज
(iii) मल्टीयूजर
ऑपरेटिंग सिस्टम (Multiuser Operating System)
इस प्रकार के
ऑपरेटिंग सिस्टम में, एक साथ अनेकों यूजर्स काम कर सकते है. मल्टीयूजर ऑपरेटिंग
सिस्टम का उपयोग नेटवर्क सिस्टम में देखने को मिलता है.
(iv) बैच प्रोसेसिंग
ऑपरेटिंग सिस्टम
(Batch Processing Operating System)
बैच प्रोसेसिंग
ऑपरेटिंग सिस्टम में, डाटा और प्रोग्रामों को प्रोसेस के लिए एक बंडल बनाया जाता
है और एक बैच में समूहीकृत कर एक्सीक्यूट (निष्पादित) किया जाता है. ऐसे ऑपरेटिंग
सिस्टम का उपयोग काफी अधिक मात्रा में डाटा पर कार्य करने के लिए किया जाता है. इस प्रकिया में, उपयोगकर्ता
का कोई हस्तक्षेप नहीं होता है, बल्कि यह स्वतः ही कार्य करती है.
(v) रियल टाइम ऑपरेटिंग सिस्टम
(Real Time Operating
System)
रियल टाइम
ऑपरेटिंग सिस्टम एक एडवांस ऑपरेटिंग सिस्टम होते है, जो तय समय पर कार्य करने की
क्षमता रखता है. इस प्रकार के ऑपरेटिंग सिस्टम का उपयोग तब किये जाते हैं, जब
कार्य आधिक होते हैं और समय कम होता है.
(b) एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर (Application Software)
कुछ सॉफ्टवेयर
ऐसे होते हैं, अगर वह कंप्यूटर में ना हो तो , काम करने में मजा नहीं आता. और यह
मजा हमें एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर प्रदान करते हैं.
Application Software ऐसे प्रोगाम होते हैं जो खास कार्यो के लिए डिजाईन (तैयार)
किये जाते हैं. ये प्रोग्राम ऑपरेटिंग सिस्टम की सहायता से रन करते हैं.
एप्लीकेशन सॉफ्टवेर को दो भागों में वर्गीकृत किया गया है.
(a) सामान्यीकृत सॉफ्टवेयर
(Generalised Software) |
(b) अनुकूलित सॉफ्टवेयर
(Customized Software) |
(a) सामान्यीकृत सॉफ्टवेयर (Generalized Software)
सामान्यीकृत सॉफ्टवेयर यूजर
फ्रेंडली होते हैं और ये यूजर्स के खास कार्यों के लिए डिजाईन किये जाते हैं. जैसे
: एम. एस. वर्ड में डॉक्यूमेंट तैयार करना, फोटोशोप में फोटो या चित्र को एडिटिंग
करना इत्यादि.
कुछ सामान्यीकृत सॉफ्टवेयर इस
प्रकार हैं :
Word Processor : MS Word, WordPad,
Open Office Writer etc.
Database Program : MS Access, Oracle etc.
Spreadsheet Program : MS Excel, Open Office
Calc, etc.
Image Editor : Photoshop, Illustrator etc.
Antivirus Program : Quick Heal, Avast,
Kaspersky, Norton etc.
Business Application : Tally etc.
Browsers : Google Chrome,
Internet Explorer, Opera etc.
(b) अनुकूलित सॉफ्टवेयर (Customized Software)
अनुकूलित सॉफ्टवेयर (Customized Software) ऐसे सॉफ्टवेयर होते हैं, जो
किसी संस्था, या कंपनी अपने कार्यों के अनुसार, खास तौर से डिजाईन या तैयार किये
जाते हैं.
(iii) यूटिलिटी सॉफ्टवेयर (Utility Software) आइये कुछ ऐसे सॉफ्टवेयर के बारें
में जानते हैं, जो हमारे सिस्टम को रखरखाव के लिए जरुरी होते हैं. ये सॉफ्टवेयर यूटिलिटी सॉफ्टवेयर
कहलाते हैं, तथा ये सॉफ्टवेयर विंडोज ऑपरेटिंग सिस्टम के ही भाग या पार्ट होते
हैं. जैसे : डिस्क डीफ्रेगमेंटेशन , डिस्क क्लीनअप, स्कैन डिस्क इत्यादि.
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(iv) डिवाइस ड्राईवर (Device Driver) |
डिवाइस
ड्राइवर वह सॉफ़्टवेयर है जो कंप्यूटर सिस्टम और OS में, हार्डवेयर के बीच "संपर्क" की तरह कार्य करता है। जिस प्रकार, बैंक हमारे और
प्राप्तकर्ता के बीच मीडिएटर का कार्य करता है, ठीक उसी प्रकार, डिवाइस ड्राईवर भी
कंप्यूटर सिस्टम और OS के बीच कार्य करता है.
ऑपरेटिंग
सिस्टम कंप्यूटर में प्रत्येक डिवाइस के साथ संचार करने के लिए एक डिवाइस ड्राइवर
पर निर्भर करता है। एक डिवाइस ड्राइवर जिसे ड्राइवर भी कहा जाता है, एक छोटा प्रोग्राम है जो ऑपरेटिंग सिस्टम को डिवाइस के साथ संचार करने
के लिए कहता है। कंप्यूटर के प्रत्येक उपकरण, जैसे कि माउस, कीबोर्ड आदि के अपने विशेष कमांड सेट होते हैं और इस प्रकार इसके लिए
अपने स्वयं के विशिष्ट ड्राइवर की आवश्यकता होती है। जब आप किसी कंप्यूटर को बूट
करते हैं, तो ऑपरेटिंग सिस्टम प्रत्येक डिवाइस ड्राइवर को
लोड करता है। ये डिवाइस अपने सही ड्राइवरों के बिना काम नहीं करेंगे।
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